Women’s Health: पीरियड्स के दौरान महिलाओं में मूड स्विंग्स होना लाजमी है. लेकिन क्या आप ने कभी सोचा है कि मासिक धर्म के दौरान महिलाएं चिड़चिड़ी होती क्यों हैं? दरअसल, पीरियड्स के दौरान शरीर में कई सारे बदलाव होते हैं. इन्हीं हॉर्मोनल बदलावों के कारण महिलाओं का मानसिक स्वास्थ्य बिगड़ जाता है. आइए जानते हैं कि पीरियड्स में महिलाओं का मूड स्विंग क्यों होता है और इसे कंट्रोल करने के आसान तरीके क्या हैं?
Mood Swings during Periods: पीरियड्स के दौरान क्यों होता है मूड स्विंग?पीरियड्स शुरू होते ही महिलाओं में हॉर्मोन असंतुलित होने लगते हैं. जिसके फलस्वरूप, महिलाओं में oestrogen और progesterone हॉर्मोन कम होने लगता है. ये दोनों हॉर्मोन कम होने से महिलाओं में सेरोटोनिन हॉर्मोन का उत्पादन भी कम हो जाता है. आपको बता दें कि सेरोटोनिन को हैप्पी हॉर्मोन कहा जाता है, जो आपके मूड को कंट्रोल करता है और इसके कम होने से चिंता, गुस्सा, उदासी, चिड़चिड़ापन आदि लक्षण दिखने लगते हैं.
Tips to control mood swings: मूड स्विंग कंट्रोल करने के टिप्सअगर महिलाएं पीरियड्स के दौरान मूड स्विंग को कंट्रोल करना चाहती हैं, तो निम्नलिखित टिप्स को अपना सकती हैं.
मूड स्विंग को कंट्रोल करने के लिए सही डाइट लें. महिलाओं के लिए डाइट में प्रोटीन, फाइबर, पानी आदि चीजों को ट्रैक करना चाहिए.
एक्सरसाइज करने से हैप्पी हॉर्मोन का उत्पादन बढ़ाया जा सकता है. जिससे पीरियड्स के दौरान मूड स्विंग कम होगा.
पर्याप्त नींद लेने से भी महिलाएं हैप्पी हॉर्मोन का उत्पादन बढ़ा सकती हैं.
पीरियड्स के दौरान भावनात्मक सपोर्ट बहुत जरूरी है. इससे महिलाओं में चिड़चिड़ापन कम हो सकता है.
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