रजनीश यादव /प्रयागराज: सब्जी और फूलों की मंडी तो आपने बहुत देखी होंगी. पर, हम लाए हैं रोटी मंडी की कहानी. यह अनोखी मंडी प्रयागराज में लगती है. कई लोग इस मंडी में रोटियां बेचकर कमाई कर रहे हैं. प्रयागराज की गलियों और मोहल्लों में लाखों की संख्या में बच्चे परीक्षाओं की तैयारी करते हैं. ऐसे में कुछ छात्र खाना बनाना पसंद नहीं करते. इससे वह बाहर के खानपान पर निर्भर रहते हैं. आइए जानते हैं इस अनोखी मंडी के बारे में.प्रयागराज में लगती है रोटी की मंडीप्रयागराज यूनिवर्सिटी के आसपास 50 से अधिक महिलाएं और पुरुष रोज शाम को 5:00 बजे से लेकर रात में 11:00 बजे तक रोटी बनाकर बेचते हैं. तब भारी संख्या में रोटी खरीदने वालों की भीड़ भी लगी दिखती है. पढ़ाई के साथ-साथ स्टूडेंट्स के लिए रसोई में समय दे पाना मुमकिन नहीं है. इसी को देखते हुए रोटी मंडी पर भारी संख्या में लोग पहुंचते हैं.तीन रुपये की मिलती है एक रोटीरोटी मंडी में रोज लगभग 50 हजार से अधिक रोटियां बिक जाती हैं.तभी तो रोटी बेचने वालों को अच्छा खासा मुनाफा हो रहा है. यहां मिलने वाली एक रोटी की कीमत ₹3 होती है. रोटी की दुकान लगाने वाले दीपक पटेल बताते हैं कि पहले यहां उनकी मम्मी दुकान लगाती थी, लेकिन अब इसकी जिम्मेदारी दोनों भाइयों ने ले ली है. कई बच्चे इस मंडी की रोटी खाकर अफसर बने हैं.प्रतियोगी छात्र हैं ग्राहकयहां रोटी की दुकान लगाने वाली जीतू की मम्मी बताती हैं कि हमारे यहां से केवल प्रतियोगी छात्र ही रोटी खरीद कर ले जाते हैं. क्योंकि एक अकेले छात्र को कमरे पर रोटी बनाने में जो समय जाता है. वह मात्र ₹15 में पांच रोटी खरीद कर अपने अकेले का पेट भर लेते हैं. यही वजह है कि यहां रोटी लगाने वाली सभी दुकानों पर शाम को छात्रों का रेल लगी होती है. उन्होंने बताया कि पहले यहां रोटी ₹2 की मिलती थी. फिर 2.5 रुपए की हुई. लेकिन इस समय ₹3 की रोटी मिल रही है.FIRST PUBLISHED : July 10, 2024, 11:16 IST
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