Uttar Pradesh

सहारनपुर समाचार: सहारनपुर में यहां मुर्गी एवं सुअर पालन का प्रशिक्षण मिलेगा, इच्छुक लोग इस तरह से आवेदन करें

सहारनपुर में मुर्गी और सुअर पालन के लिए निशुल्क प्रशिक्षण

सहारनपुर जनपद के बेरोजगार युवाओं के लिए एक अच्छा अवसर आ गया है. वैज्ञानिक पशु विज्ञान डॉ मनोज सिंह ने बताया कि कृषि विज्ञान केंद्र द्वारा युवाओं को मुर्गी पालन और सुअर पालन के लिए पांच दिवसीय प्रशिक्षण दिया जाएगा. यह प्रशिक्षण युवाओं को अपना खुद का रोजगार स्थापित करने में मदद करेगा और उन्हें एक ऐसा रोजगार स्थापित करने में मदद करेगा जिसमें कभी भी किसी भी प्रकार का नुकसान नहीं होगा.

मुर्गी पालन और सुअर पालन एक ऐसा रोजगार है जो लगातार युवाओं को आगे बढ़ने का अवसर देता है. इसके साथ-साथ प्रशिक्षण के बाद युवाओं को रोजगार शुरू करने के लिए विभाग के द्वारा मुर्गी भी उपलब्ध कराई जाती है. जो युवा छोटे स्तर पर अपना रोजगार स्थापित करना चाहते हैं, वह आसानी से कर सकते हैं और बड़े व्यवसाय को स्थापित करने के लिए भी उनका पूरा सहयोग किया जाता है.

बेरोजगार युवाओं को मिलेगा रोजगार
वैज्ञानिक पशु विज्ञान डॉ मनोज सिंह ने कहा कि जो सहारनपुर जनपद के बेरोजगार युवा हैं, उनका हमारे यहां पर 5 दिन का प्रशिक्षण होता है. आगामी समय में युवाओं के लिए मुर्गी और सुअर पालन का प्रशिक्षण शुरू होने वाला है. युवाओं को आवेदन करने के लिए कृषि विज्ञान केंद्र में संपर्क करना होगा या फिर मोबाइल नंबर के माध्यम से भी वह संपर्क कर आवेदन कर सकते हैं.

आवेदन के बाद युवाओं को फोन कर सूचित किया जाता है कि किस तारीख से उनका प्रशिक्षण शुरू हो रहा है. युवाओं को ट्रेनिंग के द्वारा हर टॉपिक से अवगत कराया जाता है जिससे कि युवाओं की आय बढ़े। समस्या एक है कि हमारे युवा इस समय धर्म संकट में है कि अपनी आय को किस तरीके से बढ़ाएं.

मुर्गी और सुअर पालन के लिए यहां मिल रहा निशुल्क प्रशिक्षण
युवाओं के लिए पशुपालन एक ऐसा व्यवसाय है जो हमेशा पैसा देता है. अगर बात करें मुर्गी पालन की तो मुर्गी पालन दो तरीके का होता है. आप मुर्गी को पाल करके उसको बेच सकते हैं और दूसरा आप अंडों से बच्चे पाल सकते हैं. साथ ही हमारी जो बेरोजगार महिलाएं हैं, वह भी अपना मुर्गी पालन में अच्छा व्यवसाय कर सकती है. महिलाएं घर के आंगन में भी मुर्गी पालन कर सकती है इसमें बहुत सारी मुर्गियों की देसी प्रजाति आती है जो घर के आंगन में बहुत अच्छे से रह सकती है. उन पर 10 से 12 दिन ध्यान देना होता है और 10 से 12 दिन के बाद चूजा बड़ा हो जाता है और अपने आप इधर-उधर चुगने लगता है और उनकी खाने की आवश्यक आवश्यकता पूरी हो जाती है. ट्रेनिंग के बाद विभाग द्वारा ही मुर्गी के बच्चों को उपलब्ध कराया जाता है. इस तरीके से हम अपने युवाओं का इनकम बढ़ाने और उनका सहयोग करते हैं.

प्रशिक्षण 23 से 27 सितंबर तक होगा
यह प्रशिक्षण युवाओं को अपना खुद का रोजगार स्थापित करने में मदद करेगा और उन्हें एक ऐसा रोजगार स्थापित करने में मदद करेगा जिसमें कभी भी किसी भी प्रकार का नुकसान नहीं होगा. इसलिए जो भी युवा और महिलाएं मुर्गी पालन और सुअर पालन करना चाहती हैं, निशुल्क प्रशिक्षण के लिए तुरंत कृषि विभाग में आवेदन करें.

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