research claims the new risk factors for uterine cancer | रिसर्च में दावा यूटेराइन कैंसर के नए रिस्क फैक्टर का खोज

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research claims the new risk factors for uterine cancer | रिसर्च में दावा यूटेराइन कैंसर के नए रिस्क फैक्टर का खोज



Risk Factors for Uterine Cancer: महिलाओं में होने वाली एक गंभीर बीमारी में से एक यूटेराइन कैंसर है. इसे एंडोमेट्रियल कैंसर के नाम से भी जाना जाता है. हर साल दुनिया भर में लगभग 4 लाख महिलाओं में ये बीमारी होती है, जिसमें से 1 लाख महिलाओं की मौत हो जाती है. 
 
बीमारी के रिस्क फैक्टरइस बीमारी के रिस्क फैक्टर मोटापा, डायबिटीज और सेक्स हार्मोन एस्ट्रोजन का लेवल बढ़ना शामिल है. इसके साथ-साथ उम्र के साथ एंडोमेट्रियल कैंसर का रिस्क भी बढ़ जाता है. 
 
एंडोमेट्रियल कैंसर को बढ़ाने मददगार हैं ये 5 नई जगहजर्मनी के हनोवर मेडिकल स्कूल (एमएचएच) की टीम ने जीनोम में 5 नई जगहें खोजी हैं जो एंडोमेट्रियल कैंसर को बढ़ाने में मदद करते हैं. ईबायोमेडिसिन मैगजीन में पब्लिश्ड फाइंडिंग ने एंडोमेट्रियल कैंसर के ज्ञात जीनोमिक रिस्क फैक्टर की संख्या 16 से बढ़ाकर 21 कर दी.
 
हेरिडिटेरी यूटेराइन कैंसर के रिस्क MHH में हेड ऑफ गाइनोकोलोटिस्ट रिसर्च यूनिट की प्रमुख डॉ. थिलो डॉर्क बुसेट ने कहा, “यह हमें हेरिडिटेरी यूटेराइन कैंसर के रिस्क का यथासंभव सटीक अनुमान लगाने के हमारे लक्ष्य के एक कदम और करीब लाता है.” डॉर्क बुसेट ने आगे कहा, “जितने ज्यादा जीन हमें इसके लिए जिम्मेदार लगते हैं, उतनी ही सटीकता से हम किसी महिला में एंडोमेट्रियल कैंसर होने की संभावना की गणना कर सकते हैं.”
 
टीम ने नए रिस्क जीन नेविगेटर-3(NAV3) का स्टडी कियाइस स्टडी के लिए टीम ने विभिन्न देशों के नेशनल बायोबैंक से जेनेटिक डेटा कलेक्ट किए और एंडोमेट्रियल कैंसर से पीड़ित 17,000 से ज्यादा मरीजों में जेनेटिक चेंजेस की तुलना लगभग 2,90,000 स्वस्थ महिलाओं के जीनोम से की. इसके बाद इन रिजल्ट्स को एक रिसर्च में ही शामिल दूसरे प्रतिभागियों के एक समूह में वेरिफाइड किया गया. टीम ने नए रिस्क जीन नेविगेटर-3(NAV3) का स्टडी किया था.
 
एंडोमेट्रियम में सेल ग्रोथ लिमिट करता हैMHH की बायोलॉजिस्ट डा. धन्या रामचंद्रन ने कहा, “ये परिणाम बताते हैं कि नेविगेटर-3 NAV3 सामान्यत, एंडोमेट्रियम में सेल ग्रोथ को लिमिट करता है और इस प्रकार एक तथाकथित ट्यूमर सप्रेसर जीन के रूप में कैंसर बनने को रोकता है.” टीम ने कहा कि यह रिसर्च संभावित निवारक रणनीतियों और नए चिकित्सीय दृष्टिकोणों को विकसित करने में मदद कर सकता है.–आईएएनएस
 
Disclaimer: यहां दी गई जानकारी घरेलू नुस्खों और सामान्य जानकारियों पर आधारित है. इसे अपनाने से पहले चिकित्सीय सलाह जरूर लें. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है. 



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