अगर आपका बच्चा चोट लगने पर देर तक खून बहने की शिकायत करता है, तो यह नॉर्मल नहीं है. हो सकता है कि यह हीमोफीलिया (Haemophilia) नाम की एक जानलेवा और दुर्लभ बीमारी का संकेत हो, जिसे आमतौर पर नजरअंदाज कर दिया जाता है.
पैथोलॉजिस्ट डॉ. अमित ताओरी बताते हैं कि हीमोफीलिया एक जेनेटिक ब्लीडिंग डिसऑर्डर है जिसमें खून के थक्के बनने की प्रक्रिया प्रभावित होती है. यह बीमारी दो प्रकार की होती है- हीमोफीलिया-ए और हीमोफीलिया-बी. दोनों ही स्थितियों में शरीर में फैक्टर VIII या फैक्टर IX की कमी हो जाती है, जिससे मामूली चोट भी गंभीर रूप से खतरनाक साबित हो सकती है. बच्चे के शरीर पर आसानी से नीले निशान पड़ना, नाक से बार-बार खून आना, मसूड़ों से खून बहना और पेशाब या मल में खून आना इसके आम लक्षण हैं.
ब्रिटिश राजघराने से जुड़ी बीमारीदिलचस्प बात यह है कि हीमोफीलिया को ‘रॉयल डिजीज’ भी कहा जाता है, क्योंकि यह सबसे पहले ब्रिटिश महारानी विक्टोरिया में पाया गया था. बावजूद इसके, भारत जैसे देश में यह बीमारी उपेक्षित है. हीमोफीलिया-ए हर 5000 से 10,000 बच्चों में से एक को होता है, जबकि हीमोफीलिया-बी हर 40,000 में एक लड़के को प्रभावित करता है. महिलाओं में यह बीमारी विरले ही पाई जाती है क्योंकि यह X-लिंक्ड रीसैसिव विकार है.
भारत में 80% मामले अनडायग्नोज्ड!भारत में हालात और भी चिंताजनक हैं. मेडिकल टेक्नोलॉजी में तरक्की के बावजूद, देश में हीमोफीलिया-ए के सबसे ज्यादा मरीज हैं. अनुमान है कि 80% से ज्यादा मरीजों की अभी तक पहचान नहीं हो पाई है. इसकी सबसे बड़ी वजह है ग्रामीणों में डायग्नोस्टिक सुविधाओं की कमी, डॉक्टरों में जागरूकता की कमी, और राष्ट्रीय नीति का अभाव.
समाधान क्या है?समस्या से निपटने के लिए सबसे पहले जरूरत है जन्म से पहले की जांच को जिला स्तर तक पहुंचाने की. जेनेटिक काउंसलिंग, सीवीएस और अम्नियोसेंटेसिस टेस्टिंग, और जन्म के बाद फैक्टर VIII और IX की जांच से बीमारी की समय पर पहचान की जा सकती है. सरकार को चाहिए कि वह नेशनल लेवल पर नीति बनाकर जागरूकता अभियान, अनुसंधान को फंडिंग और इलाज की सुविधा सुनिश्चित करे.
Disclaimer: प्रिय पाठक, हमारी यह खबर पढ़ने के लिए शुक्रिया. यह खबर आपको केवल जागरूक करने के मकसद से लिखी गई है. हमने इसको लिखने में सामान्य जानकारियों की मदद ली है. आप कहीं भी कुछ भी अपनी सेहत से जुड़ा पढ़ें तो उसे अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.
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