Uttar Pradesh

इस कॉलेज के रिजल्ट ने मचाया गदर, एक लाइन से दे दिए जीरो, अब री-चेकिंग के लिए मांगा जा रहा 3-3 हजार – Uttar Pradesh News

Last Updated:August 03, 2025, 20:39 ISTPG College Ghazipur : गाजीपुर के पीजी कॉलेज में बीएससी के रिजल्ट ने बखेड़ा खड़ा कर दिया है. छात्रों के साथ ऐसा कुछ हुआ, जिसकी किसी ने कल्पना नहीं की थी. छात्रसंघ ने इसे खुला शोषण और लूट बताया है.गाजीपुर. कल्पना कीजिए आपने सालभर कड़ी मेहनत की, मुख्य परीक्षा दी और रिजल्ट में आपके सामने जीरो नंबर आ जाए. इसी जीरो को देखकर कई छात्र सन्न रह गए. यह किसी स्कूल की सरप्राइज टेस्ट की कॉपी नहीं, बल्कि बीएससी चौथे सेमेस्टर का आधिकारिक रिजल्ट है. गाजीपुर के पीजी कॉलेज में बीएससी चौथे सेमेस्टर के रिजल्ट ने बवाल खड़ा कर दिया है. 100 में से 50 छात्रों को 0 से 5 नंबर मिले, जबकि दूसरे विषयों में अच्छे अंक आए. छात्र आरोप लगा रहे हैं कि जौनपुर यूनिवर्सिटी कॉपी री-चेकिंग के लिए ₹2500-3000 मांग रही है. छात्रसंघ ने इसे खुला शोषण और लूट कहा है.

बिना पढ़े पेपर देते तो भी नहीं आता ये

बीएससी चौथे सेमेस्टर की छात्रा अनामिका कुमारी कहती हैं कि “जीरो नंबर! ये तो सोचा भी नहीं जा सकता. स्कूल में बिना पढ़े टेस्ट देते तो भी जीरो नहीं आता. ये तो मेन एग्जाम था, इसमें जीरो कैसे आ सकता है? अनामिका ने बताया कि मैथेमेटिकल डिफरेंशियल इक्वेशन और मैकेनिक्स वाले सब्जेक्ट में दर्जनों बच्चों को बैक या जीरो नंबर मिले हैं. उनका कहना है कि यूनिवर्सिटी दोबारा कॉपी चेक करने के लिए ₹2500-3000 की डिमांड कर रही है. इतने में तो हम दोबारा बीएससी कर लें. उनका कहना है कि यह पैसा अधिकारी लोग मांग रहे हैं.

ऐसी री-चेकिंग का क्या मतलब

अनामिका कहती हैं कि गलती आपकी (यूनिवर्सिटी) है तो आप इसे देखेंगे. हम पैसा भी दें और फिर कॉपी चेक हो तो क्या मतलब? दूसरी छात्रा नेहा सिंह कहती हैं कि जौनपुर यूनिवर्सिटी तक जाना पड़ता है, जो 150 किलोमीटर दूर है. वह कहती हैं कि मेरा एक नंबर से बैक लग गया. किसी का दो नंबर से बैक लग गया, जबकि हमारी परीक्षा अच्छी हुई थी. कॉलेज कहता है कि यूनिवर्सिटी जाओ, यूनिवर्सिटी कहती है पैसे दो. ये बच्चों का शोषण नहीं तो क्या है?

जब तक न्याय नहीं, लड़ते रहेंगे

पूर्व छात्रसंघ उपाध्यक्ष दीपक उपाध्याय ने कहा कि ये हर साल की दिक्कत है. बैक पेपर के नाम पर ₹600 और कॉपी री-चेकिंग के नाम पर हजारों रुपए वसूले जाते हैं. करीब 100 बच्चों में से 50 बच्चों को 0, 2 या 5 नंबर मिले हैं, जबकि उनके बाकी सब्जेक्ट्स में अच्छे नंबर हैं. पेपर में जय श्री राम लिखने पर नंबर दे दिए जाते हैं लेकिन जवाब सही लिखने पर जीरो दिया जाता है. पूर्व महामंत्री सुधांशु तिवारी का कहना है कि ये बच्चों के साथ खुला शोषण है. जो पीजी कॉलेज में बीएससी एंट्रेंस टेस्ट पास करके एडमिशन ले सकता है, वो जीरो नंबर पाने का हकदार है?मेधावी छात्र जीरो कैसे पा सकते हैं? जब तक न्याय नहीं मिलेगा, हम लड़ते रहेंगे.Location :Ghazipur,Uttar PradeshFirst Published :August 03, 2025, 20:39 ISThomecareerGhazipur News : इस कॉलेज के रिजल्ट ने मचाया गदर, एक लाइन से दे दिए जीरो

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