Last Updated:May 04, 2025, 19:51 ISTFish Farming: गर्मियों में तालाब की मछलियों के सतह पर आने और थकी दिखने का कारण पानी में ऑक्सीजन की कमी है. सहायक निदेशक डॉक्टर अनिता के अनुसार, तापमान बढ़ने से ऑक्सीजन घटती है. समय पर उपाय जरूरी है.X
Fish Farmingहाइलाइट्सगर्मियों में तालाब की मछलियों के सतह पर आने का कारण ऑक्सीजन की कमी है.पानी का तापमान 30 डिग्री सेल्सियस से ऊपर न जाने दें.तालाब की नियमित सफाई और एरेटर्स का उपयोग करें.Fish Farming: गर्मियों का मौसम इंसानों के साथ मछलियों के लिए भी परेशानी भरा हो सकता है. अगर आप मत्स्यपालन करते हैं और आपके तालाब की मछलियां अक्सर पानी की सतह पर नजर आने लगी हैं, बार-बार मुंह खोल रही हैं या थकी-थकी लगती हैं, तो यह साफ संकेत है कि पानी में ऑक्सीजन की कमी हो गई है. समय रहते इसका समाधान न किया गया तो मछलियों की जान को खतरा हो सकता है और भारी नुकसान उठाना पड़ सकता है.
सहायक निदेशक मत्स्य अधिकारी डॉक्टर अनिता बताती है कि मछलियों का सामान्य व्यवहार पानी के अंदर रहना होता है, लेकिन जब ऑक्सीजन की कमी हो जाती है तो वे सतह पर आकर सांस लेने की कोशिश करती हैं. सतह पर ज्यादा समय बिताना, मुंह को बार-बार खोलना, धीमी गति से तैरना या थकावट जैसी स्थिति इस बात के संकेत हैं. यह खासकर दोपहर के समय अधिक देखने को मिलता है जब तापमान बहुत ज्यादा होता है.
गर्मी के मौसम में पानी का तापमान बढ़तागर्मी के मौसम में पानी का तापमान बढ़ जाता है. तापमान बढ़ने से पानी में घुली हुई ऑक्सीजन की मात्रा घटने लगती है. इसके अलावा अगर तालाब में काई या ज्यादा अपशिष्ट हैं तो ये भी ऑक्सीजन की खपत बढ़ाते हैं. ऐसे में मछलियों के लिए सांस लेना मुश्किल हो जाता है.
पानी का कुछ हिस्सा बदलना जरूरीसबसे पहले तालाब के पानी का तापमान नियमित रूप से जांचते रहें. कोशिश करें कि पानी 30 डिग्री सेल्सियस से ऊपर न जाए. अगर तापमान ज्यादा हो तो पानी का कुछ हिस्सा बदलना जरूरी है. इसके साथ ही तालाब में ऑक्सीजन की मात्रा बढ़ाने के लिए एरेटर्स (हवा मिलाने वाले उपकरण) या वाटर फाउंटेन का इस्तेमाल करें. अगर ये उपलब्ध न हों तो सुबह या शाम के समय पाइप से पानी गिराकर भी ऑक्सीजन बढ़ाई जा सकती है.
उत्पादन में नुकसान नहीं होगातालाब की नियमित सफाई करें. ज्यादा काई, जलीय घास और मछलियों का जमा अपशिष्ट ऑक्सीजन को कम करता है. अगर साफ-सफाई सही रहेगी तो मछलियां भी स्वस्थ रहेंगी और उत्पादन में नुकसान नहीं होगा. अगर समय रहते इन संकेतों को समझकर सही कदम उठाया जाए तो न सिर्फ मछलियों की जान बचाई जा सकती है बल्कि मत्स्यपालकों का आर्थिक नुकसान भी टाला जा सकता है. गर्मियों में थोड़ी सी सतर्कता और सही प्रबंधन से मछली पालन को लाभदायक बनाए रखा जा सकता है.
Location :Rampur,Uttar Pradeshhomeuttar-pradeshFish Farming:सतह पर तैरती मछलियां दे रहीं हैं खतरे का संकेत,तुरंत करें ये उपाय