Last Updated:July 23, 2025, 23:45 ISTChitrakoot News : चित्रकूट जिले में अब तक 200 से अधिक बच्चियां इससे सुरक्षित की जा चुकी हैं. ये टीका गर्भाशय ग्रीवा को किसी भी खतरे से बचाएगा. ये रोग महिलाओं की जान ले सकता है. रोग से पहले ही रोकथाम जरूरी है.चित्रकूट. महिलाओं को ह्यूमन पेपिलोमा वायरस (एचपीवी) से होने वाली बीमारी बेहद खतरनाक है. अगर सही समय से ध्यान नहीं दिया गया तो यह आगे चलकर बड़ी बीमारी का रूप ले लेती है. चित्रकूट की महिलाओं को इससे बचाने के लिए स्वास्थ्य विभाग लगातार प्रयास कर रहा है. यहां के शिवरामपुर स्थित कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय और दूसरे स्कूलों में स्वास्थ्य विभाग, आकांक्षा समिति और रेड क्रॉस सोसायटी के सहयोग से जागरूकता और टीकाकरण कैंप लगाया गया है. एचपीवी वायरस का टीका सरकार की ओर से नि:शुल्क नहीं है, लेकिन आकांक्षा समिति और रेड क्रॉस की पहल से इसे छात्राओं को बिना किसी शुल्क के उपलब्ध कराया जा रहा है.
बनावट के आधार पर पहचान
आकांक्षा समिति की अध्यक्ष डॉ. तनुषा टीआर ने बताया कि इससे पहले मानिकपुर के कस्तूरबा विद्यालय में भी 100 छात्राओं को यह टीका लगाया जा चुका है. इस तरह, जिले में अब तक 200 से अधिक बालिकाएं इस कैंसर से सुरक्षित की जा चुकी हैं. ये टीका गर्भाशय ग्रीवा को कैंसर से बचाएगा. अलग-अलग तरह के ह्यूमन पेपिलोमा वायरस शरीर के कई हिस्सों में संक्रमण फैलाते हैं. इनसे मस्से या प्रीकैंसर या गर्भाशय ग्रीवा, योनि, वल्वा, गुदा या गले के कैंसर हो सकता है. जननांग पर होने वाले मस्से दिखने में घाव जैसे होते हैं, जिनसे कभी-कभी जलन होती है. डॉक्टर मस्सों की बनावट के आधार पर उनकी पहचान करते हैं.
हर डोज में कितना अंतर?
सर्वाइकल कैंसर के लिए स्क्रीनिंग में HPV परीक्षण शामिल हैं. टीके लगभग ऐसे सभी प्रकार के HPV संक्रमण को रोक सकते हैं, जो जननांग पर मस्से या कैंसर का कारण बन सकते हैं. सीएमओ डॉ. भूपेश द्विवेदी ने बताया कि एचपीवी का टीका तीन डोज में दिया जाता है, जिसमें प्रत्येक डोज के बीच 6 महीने का अंतर होता है. स्वास्थ्य विभाग जिले में और भी स्थानों पर ऐसे शिविर लगाएगा, ताकि अधिक से अधिक किशोरियों को इस बीमारी से बचाया जा सके.Location :Chitrakoot,Uttar Pradeshhomeuttar-pradeshदर्दनाक अंत से बचाएगा ये तरीका, किसी भी मोड़ पर दबोच लेगा गला