उत्तर प्रदेश में शिक्षा के क्षेत्र में एक नई शुरुआत हुई है. अब तक मध्याह्न भोजन केवल कक्षा 1 से 6 तक के विद्यार्थियों को मिलता था, लेकिन पहली बार कक्षा 9 से 12 तक की छात्राओं को भी यह सुविधा दी गई है. इसकी शुरुआत राजकीय बालिका इंटर कॉलेज (जीजीआईसी) चुन्नीगंज से हुई है, जहां डीएम जितेंद्र प्रताप सिंह ने स्वयं छात्राओं के साथ बैठकर भोजन किया और इस नई पहल का शुभारंभ किया.
समाज और प्रशासन की साझेदारी से नई पहलअब जीजीआईसी चुन्नीगंज की 456 छात्राओं को प्रतिदिन मुफ्त पौष्टिक भोजन मिलेगा. इससे पहले कक्षा 6 से 8 की 249 छात्राओं को अक्षय पात्र फाउंडेशन से भोजन मिलता था, जिसकी वजह से उनकी उपस्थिति 80 प्रतिशत से अधिक रहती थी, जबकि बड़ी कक्षाओं में उपस्थिति केवल 50 प्रतिशत तक सीमित थी. अब उम्मीद की जा रही है कि मध्याह्न भोजन मिलने से कक्षा 9 से 12 की छात्राओं की उपस्थिति भी बढ़ेगी.
यह योजना जिलाधिकारी की पहल पर इस्कॉन कानपुर और अचिन्त्य फाउंडेशन के सहयोग से शुरू की गई है. इस पर हर साल करीब 20 लाख रुपए का खर्च आएगा, जिसे समाजसेवियों के सहयोग से पूरा किया जाएगा. इस्कॉन ने छात्राओं के लिए खास मेन्यू तैयार किया है, जिसमें पौष्टिकता के साथ-साथ स्वाद का भी ध्यान रखा गया है. दिन की थाली में अलग-अलग स्वाद के विकल्प होंगे, जैसे कि सोमवार को कढ़ी पकोड़ा, आलू-परवल, चावल, रोटी, मंगलवार को चावल, मूंग दाल, रोटी, सोया आलू, बुधवार को चावल, अरहर दाल, रोटी, चना आलू, गुरुवार को चावल, मूंग दाल छिलका, रोटी, आलू सीताफल, शुक्रवार को चावल, रोटी, छोला, हलवा, और शनिवार को चावल, राजमा, मिक्स सब्ज़ी, रोटी.
मिशन शक्ति से जुड़ी नई राहडीएम जितेंद्र प्रताप सिंह ने कहा कि यह पहल मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मिशन शक्ति अभियान से जुड़ी है. शिक्षा और पोषण को जोड़ने का यह प्रयास छात्राओं के लिए बेहद उपयोगी साबित होगा. साथ ही, डीएम ने छात्राओं को नई ड्रेस और जूते भी उपलब्ध कराए हैं. इस्कॉन के प्रभु अमृतेश कृष्ण दास ने कहा कि उनका उद्देश्य समाज को भूख से मुक्त करना है और वे प्रतिदिन हजारों लोगों को भोजन कराने की क्षमता रखते हैं. अचिन्त्य फाउंडेशन के निदेशक अभिषेक अग्रवाल ने कहा कि समाज के सहयोग से यह योजना लंबे समय तक चलाई जाएगी.