लखीमपुर खीरी जिले में तेंदुआ का आतंक बढ़ता जा रहा था. जिस कारण किसान अपने खेतों में नहीं जा पा रहे थे. बुधवार को सूचना मिलते ही वन विभाग की टीम ने मादा तेंदुआ को पकड़ने के लिए पिंजरा लगाया था. पिंजरे में तेंदुआ व उसके शावक को कैद कर लिया. जिसके बाद ग्रामीणों ने ली राहत की सांस.
उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले में तेंदुआ का आतंक बढ़ता जा रहा है. जिस कारण किसान अपने खेतों में नहीं जा पा रहे हैं. जिले में लगातार घटनाएं भी बढ़ती जा रही है. किसानों में दहशत का माहौल व्याप्त है बरसात के मौसम में जंगलों में पानी भर जाने की कारण बाघ और तेंदुआ ने गन्ने के खेतों में ठिकाना बना लिया है. जिससे वह शाम होती ही गांव के आसपास में पहुंचकर घटनाओं को अंजाम दे देते हैं शाम होते ही लोग अपने घरों से बाहर नहीं निकलते हैं.
पूर्व प्रधान पर मादा तेंदुआ ने किया था हमला बुधवार को मादा तेंदुआ ने सदर तहसील क्षेत्र के पूर्व प्रधान प्रकाश चंद्र पर हमला कर गंभीर रूप से घायल कर दिया. इलाज के लिए उन्हें अस्पताल भी भेजा गया था. मिली जानकारी के अनुसार पूर्व प्रधान अपने खेत पर गए हुए थे. इसी दौरान गन्ने के खेत में मादा तेंदुआ अपने दो शावकों के साथ बैठी हुई थी. अचानक हमला कर दिया था. इसके बाद क्षेत्र में दहशत फैल गई थी. सूचना मिलते ही मौका पहुंची थी. वन विभाग की टीम ने मादा तेंदुआ को पकड़ने के लिए पिंजरा लगाया था पिंजरे में कैद हुई मादा तेंदुआ व उसके शावक ग्रामीणों ने ली राहत की सांस.
सुनिए क्या बोले रेंजर दक्षिण खीरी वन प्रभाग के शारदा नगर वन रेंज के रेंजर अभय कुमार मल्ल ने बताया कि मादा तेंदुआ और उसके शावकों का पशु चिकित्सकों की ओर से मेडिकल परीक्षण कराया गया है. जांच में सभी स्वस्थ पाए गए. वर्तमान में चिकित्सकों की देखरेख में उनकी देखभाल की जा रही है. उच्चाधिकारियों के निर्देशानुसार जल्द ही मादा तेंदुआ और उसके शावकों को सुरक्षित स्थान पर छोड़ा जाएगा।
क्यों बढ़ जाती हैं घटनाएं दुधवा नेशनल पार्क के जंगलों में बरसात के मौसम में पानी भर जाता है जिस कारण तेंदुआ व बाघ जंगलों से निकलकर रिहायशी इलाकों में पहुंच जाते हैं. उसके बाद गन्ने के ठिकाना में अपना ठिकाना बना लेते हैं जिस कारण घटनाएं बढ़ जाती हैं।
अब लखीमपुर खीरी जिले में तेंदुआ का आतंक कम होने की उम्मीद है. मादा तेंदुआ और उसके तीन शावकों को पकड़ने के बाद ग्रामीणों में राहत की लहर दौड़ गई है. अब किसान अपने खेतों में जाने की अनुमति मिल गई है. जिले में घटनाएं कम होने की संभावना है.