Uttar Pradesh

सपने देखें, लेकिन…खान सर ने लोकल 18 से बताई दिल की बात…सक्सेस का उनका टॉप फॉर्मूला उड़ा देगा होश, कहीं सुना नहीं होगा

ग्रेटर नोएडा में एक कॉलेज ने नए छात्रों का स्वागत किया

ग्रेटर नोएडा. जीएनआईओटी इंस्टीट्यूट ऑफ प्रोफेशनल स्टडीज (जीआईपीएस) में नए छात्रों के लिए पंडित दीनदयाल उपाध्याय ऑडिटोरियम में ओरिएंटेशन दिवस ‘नवांकुर’ का आयोजन किया गया. यह कार्यक्रम चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय मेरठ से संबद्ध है. ‘नवांकुर’ कार्यक्रम में बीबीए, बीसीए, बी.कॉम (ऑनर्स), बी.कॉम (पी) और बीएससी (कंप्यूटर साइंस) कोर्स में दाखिला लेने वाले छात्रों का स्वागत सांस्कृतिक कार्यक्रमों और खास मेहमानों के संदेशों के साथ किया गया. इस कार्यक्रम में खान सर, पत्रकार सौरभ द्विवेदी, एसीपी विवेक रंजन राय, डॉ. अभिलाषा गौर और उद्योगपति विवेक गुप्ता शामिल हुए.

सिर्फ डिग्री लेना ही नहीं, बल्कि अच्छे इंसान बनना है

खान सर ने लोकल 18 से बातचीत करते हुए छात्रों को संदेश दिया कि पढ़ाई का असली मकसद सिर्फ डिग्री लेना नहीं, बल्कि अच्छे इंसान बनना और समाज की जिम्मेदारी निभाना है. उन्होंने छात्रों से कहा कि बड़े सपने जरूर देखें, लेकिन साथ ही मेहनत और अनुशासन को जिंदगी का हिस्सा बनाएं. उन्होंने साफ कहा कि कोई भी कॉलेज या इंस्टिट्यूट आपके करियर के पीछे नहीं भागेगा, यह जिम्मेदारी हर छात्र को खुद उठानी होगी.

लक्ष्य से न भटकने की जरूरत

खान सर ने समझाया कि सपना सब देखते हैं, लेकिन उसे पूरा करने के लिए लगातार मेहनत करनी पड़ती है. उन्होंने कहा कि प्लान और आइडिया से ज्यादा जरूरी है काम करना. सरकारी नौकरी हो या कॉर्पोरेट जॉब– तैयारी और प्रैक्टिस दोनों जरूरी हैं. उन्होंने कहा कि प्रैक्टिस करें लेकिन सिर्फ उसी में न उलझें, असली फर्क अनुशासन और लगातार मेहनत से ही आता है. उन्होंने माता-पिता को भी सलाह दी कि वे बच्चों पर ध्यान रखें, ताकि वे अपने लक्ष्य से न भटकें.

सबसे बड़ी सीख

कार्यक्रम में दूसरे अतिथियों ने भी छात्रों को मार्गदर्शन दिया. पत्रकार सौरभ द्विवेदी ने कहा कि सवाल पूछने और सोचने की आदत डालें. एसीपी विवेक रंजन राय ने अनुशासन और ईमानदारी को सफलता की कुंजी बताया. डॉ. अभिलाषा गौर ने कहा कि आने वाले समय में डिजिटल स्किल्स बहुत जरूरी होंगी. अंत में, जीआईपीएस प्रबंधन ने छात्रों को अच्छी शिक्षा और हर तरह के विकास का भरोसा दिलाया, लेकिन इस कार्यक्रम की सबसे बड़ी सीख खान सर की रही कि अगर सपने पूरे करने हैं, तो कॉलेज के भरोसे नहीं, अपनी मेहनत पर भरोसा करना होगा.

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