Last Updated:June 30, 2025, 09:10 ISTमूंग की फसल 60 से 65 दिन में पककर तैयार हो जाती है. जिससे किसानों को अच्छा मुनाफा मिलता है. मूंग में सिंचाई की भी आवश्यकता नहीं रहती. मूंग की बुआई के लिए 15 अप्रैल तक का उपयुक्त समय होता है.किसान ने जानकारी देत…और पढ़ेंउत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी जिले में किसान अब मूंग दाल की खेती करने लगे किसानों को अच्छा खासा मुनाफा होता है. बाजारों में दाल के दाम अधिक होने के कारण किसान अब मूंग दाल की खेती कर रहे हैं.किसान बलराज ने जानकारी देते हुए बताया कि गेहूं की कटाई होने के बाद खेत खाली हो जाते हैं. ऐसे में 60 से 65 दिन के बीच में मूंग की फसल तैयार हो जाती है. फसल तैयार होने के बाद उसे खेत में पुनः धान की रोपाई कर सकते हैं. कम समय में अधिक मुनाफा मूंग की दाल की खेती से कमाया जा सकता है. मूंग की फसल की खेती करने से मिट्टी की उर्वरा शक्ति बढ़ती है. मूंग की जड़ों में राइजोबियम पाया जाता है, जो कि मिट्टी के स्वास्थ्य के लिए बेहद ही फायदेमंद होता है.
दो बीघा में 5000 रुपये का खर्चमूंग की फसल 60 से 65 दिन में पककर तैयार हो जाती है. जिससे किसानों को अच्छा मुनाफा मिलता है. मूंग में सिंचाई की भी आवश्यकता नहीं रहती. मूंग की बुआई के लिए 15 अप्रैल तक का उपयुक्त समय होता है.किसान ने जानकारी देते हुए बताया कि प्रति एकड़ में मूंग की उपज औसतन 4 से 6 क्विंटल तक होती है.मूंग की खेती में प्रति एकड़ 8 से 10 किलो बीज की आवश्यकता होती है. दो बीघा में करीब ₹5000 का खर्चा जाता है अगर हम मुनाफे की बात करें तो 30 से ₹40000 तक आसानी से कमाया जा सकता है कम समय में अधिक मुनाफा मूंग की दाल से कमाया जा सकता है.
Location :Lakhimpur,Kheri,Uttar Pradeshhomeagricultureइस दाल की खेती से होगी किसानों की बंपर कमाई, बस सिंचाई का रखें ध्यान