बच्चों के टिफिन में रोज दिखने वाले ब्रेड, आलू और सीरियल जैसे फूड अब सेहत के लिए गंभीर खतरा बन चुके हैं. फ्रांस के डॉक्टरों ने चेतावनी दी है कि इन रोजमर्रा के खाने की चीजों में कैडमियम नामक एक जहरीली भारी धातु पाई जा रही है, जो धीरे-धीरे शरीर में जमा होकर कैंसर, किडनी फेलियर और हाई ब्लड प्रेशर जैसी बीमारियों की वजह बन सकती है. खास बात यह है कि इसका सबसे ज्यादा असर छोटे बच्चों पर पड़ रहा है.
कैडमियम प्राकृतिक रूप से धरती की सतह में पाया जाता है, लेकिन खेती में इस्तेमाल होने वाले फॉस्फेट फर्टिलाइजर के कारण यह बड़ी मात्रा में अनाज और सब्जियों में प्रवेश करता है. जब ऐसी खाद मिट्टी में डाली जाती है, तो पौधे इसे जड़ों के माध्यम से सोख लेते हैं और यहीं से यह हमारे भोजन का हिस्सा बन जाता है. इसके अलावा, धूम्रपान और दूषित जल भी कैडमियम के प्रमुख सोर्स हैं.
बच्चों पर सबसे ज्यादा खतराफ्रांस की फूड सेफ्टी एजेंसी ANSES की रिपोर्ट के अनुसार, केवल 0.6% वयस्कों के भोजन में सुरक्षित सीमा से ज्यादा कैडमियम होता है, जबकि 3 से 17 साल के बच्चों में यह आंकड़ा 14% और 3 साल से छोटे बच्चों में 36% तक पहुंच चुका है. बच्चों का शरीर छोटा होने के कारण कम मात्रा में भी जहर असर करता है, और उनकी डाइट में आलू, सीरियल, ब्रेड जैसे प्रोडक्ट ज्यादा होते हैं, जिससे खतरा और बढ़ जाता है.
सेहत पर असरविश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, कैडमियम को ग्रुप-1 कार्सिनोजेन यानी कैंसर पैदा करने वाला तत्व माना गया है. यह फेफड़ों, किडनी, प्रॉस्टेट और अग्नाशय के कैंसर से जुड़ा है. साथ ही यह ब्लड प्रेशर बढ़ाने, हड्डियां कमजोर करने और बच्चों में मानसिक विकास को प्रभावित करने के लिए भी जिम्मेदार है.
फ्रेंच डॉक्टरों की मांगफ्रांस के मेडिकल प्रोफेशनल्स ने सरकार से सख्त कदम उठाने की मांग की है:* स्कूल लंच मेन्यू में सुधार* किसानों को ऑर्गेनिक खेती के लिए प्रेरित करना* सार्वजनिक जागरूकता अभियान चलाना* बच्चों की डाइट की निगरानी बढ़ाना
कैडमियम का असर धीरे-धीरे सामने आता है लेकिन शरीर में दशकों तक बना रहता है. इसलिए अब जागरूक होना ही सबसे बड़ा बचाव है.
Disclaimer: प्रिय पाठक, हमारी यह खबर पढ़ने के लिए शुक्रिया. यह खबर आपको केवल जागरूक करने के मकसद से लिखी गई है. हमने इसको लिखने में सामान्य जानकारियों की मदद ली है. आप कहीं भी कुछ भी अपनी सेहत से जुड़ा पढ़ें तो उसे अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.