भारत में देर रात खाने का चलन आम बात है. शादी-ब्याह हो या डिनर पार्टी, खाने का दौर अक्सर 10-11 बजे के बाद ही शुरू होता है. लेकिन अब हेल्थ कॉन्शियस भारतीयों का रुख बदल रहा है. लोग रात का खाना जल्दी खाने को लेकर जागरूक हो रहे हैं और इसका फायदा भी देख रहे हैं.
हाल ही में अमेरिकी इन्फ्लुएंसर क्रिस्टन फिशर ने दिल्ली शिफ्ट होने के बाद एक पोस्ट में लिखा कि भारतीय डिनर पार्टियों में खाने का समय 11 बजे के बाद होता है, जो उनके लिए एडजस्ट करना मुश्किल हो रहा है. रेडिट जैसे प्लेटफॉर्म पर भी इस विषय पर थ्रेड्स बन रहे हैं, जहां लोग सवाल कर रहे हैं- भारतीय इतनी देर से रात का खाना क्यों खाते हैं? हालांकि, अब स्थिति बदल रही है. लोग सोशल इवेंट्स में जाने से पहले ही घर पर डिनर कर रहे हैं ताकि रात में अनहेल्दी क्रेविंग्स को रोका जा सके.
क्रोनो न्यूट्रिशन का बढ़ता क्रेजअब लोग सिर्फ हेल्दी खाने पर ही ध्यान नहीं दे रहे, बल्कि खाने का सही समय भी महत्वपूर्ण मान रहे हैं. इस नए ट्रेंड को क्रोनो न्यूट्रिशन कहा जा रहा है, जिसमें भोजन को शरीर की सर्केडियन रिदम (नेचुरल बॉडी क्लॉक) के अनुसार खाया जाता है. मुंबई की रिया शर्मा ने अपनी डिनर टाइमिंग 10 बजे से घटाकर 7 बजे कर दी. सिर्फ 8 महीनों में उन्होंने 13 किलो वजन घटा लिया और उनका HbA1c (ब्लड शुगर लेवल) 8% से घटकर 5.9% हो गया.
इंटरमिटेंट फास्टिंग का असरकई भारतीय अब इंटरमिटेंट फास्टिंग अपना रहे हैं. इसमें 16 घंटे का उपवास और 8 घंटे का ईटिंग विंडो होता है. पुणे की न्यूट्रिशनिस्ट रिजवाना सैयद बताती हैं कि पहले लोग इंटरमिटेंट फास्टिंग के बारे में कम जानते थे, लेकिन अब वे खुद इसके लिए प्लान मांगते हैं. इंटरमिटेंट फास्टिंग में जब शरीर को ग्लूकोज नहीं मिलता, तो वह फैट को ऊर्जा में बदलने लगता है. इससे वजन घटता है और शरीर की कोशिकाओं की सफाई (ऑटोफेजी) होती है.
किसके लिए नहीं है इंटरमिटेंट फास्टिंग?हालांकि, इंटरमिटेंट फास्टिंग सभी के लिए नहीं है. डायबिटीज के मरीजों, गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली माताओं को यह अपनाने से पहले डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए. गलत तरीके से इंटरमिटेंट फास्टिंग करने से कमजोरी, बाल झड़ना और हार्मोनल समस्याएं हो सकती हैं.
फिटनेस का नया मंत्रआज भारतीय समझ रहे हैं कि जल्दी डिनर सिर्फ वजन घटाने का ही नहीं, बल्कि अच्छी नींद, बेहतर पाचन और ऊर्जा स्तर बनाए रखने का भी फॉर्मूला है. धीरे-धीरे यह ट्रेंड फिटनेस का नया मंत्र बनता जा रहा है.
Disclaimer: प्रिय पाठक, हमारी यह खबर पढ़ने के लिए शुक्रिया. यह खबर आपको केवल जागरूक करने के मकसद से लिखी गई है. हमने इसको लिखने में सामान्य जानकारियों की मदद ली है. आप कहीं भी कुछ भी अपनी सेहत से जुड़ा पढ़ें तो उसे अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.
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