शाश्वत सिंह/झांसी के सिपरी बाजार में हुए भीषण अग्निकांड ने पूरे शहर को हिला कर रख दिया था. अग्निकांड में 5 लोगों की जान चली गई थी. इसके बाद यह सवाल लगातार उठ रहे हैं कि आखिर इन मौतों के लिए जिम्मेदार कौन है. प्रशासन का लचर रवैया या व्यापारियों की लापरवाही. अग्निकांड को 1 सप्ताह बीत जाने के बाद लोकल 18 ने शहर के अन्य बाजारों में जाकर यह पता लगाने की कोशिश की व्यापारी अग्नि सुरक्षा को लेकर कितने जागरूक हैं और उनकी क्या तैयारी है.इस रियलिटी चेक के लिए लोकल 18 की टीम शहर के सबसे पुराने बाजार मानिक चौक पहुंची. हमने वहां कुछ दुकानदारों से बात की. अधिकतर दुकानों में आग बुझाने के कोई इंतजाम नहीं दिखाई दिए. दुकानों में अग्निशमन यंत्र नहीं लगाए गए हैं. एक दुकानदार ने कहा कि आग दिन में नहीं रात में लगती है और रात में तो हमारी दुकान बंद रहती है. एक अन्य व्यापारी ने कहा कि अग्निशमन यंत्र तो है लेकिन वह गोदाम में रखा है, जरूरत पड़ेगी तो यहां ले आएंगे. बता दें कि नियमत: किसी भी व्यावसायिक जगह पर अग्निशमन यंत्र लगाना अनिवार्य होता है.
मानिक चौक की संकरी गलियों में बनी दुकानों में प्रवेश और निकासी के भी कोई इंतजाम नहीं किए गए थे. जबकि सीपरी बाजार अग्निकांड में लोगों की जान जाने का सबसे बड़ा कारण यही था. इसके साथ ही कई दुकानों में अवैध रूप से बेसमेंट भी बनाए गए हैं जहां से व्यापार किया जा रहा है. पूरे बाजार में बिजली के तारों का ऐसा जाल बिछा हुआ है जो कभी भी किसी बड़े हादसे को अंजाम दे सकता है. इस रिएलिटी चेक पर जब लोकल 18 ने मुख्य अग्निशमन अधिकारी से बात की तो उन्होंने कहा कि व्यापारी अभी भी जागरूक नहीं हैं और लापरवाही बरत रहे हैं. सब को नोटिस दिया गया है. अगर चीजें ठीक नहीं हुईं, तो सख्त कार्रवाई की जाएगी..FIRST PUBLISHED : July 10, 2023, 10:59 IST
Source link
साहस, सुंदरता और बलिदान…झांसी की वो दो बहनें, जिनकी कहानी आज भी गूंजती है पहाड़ों में, खूबसूरती बन गई थी मौत की वजह
Last Updated:November 13, 2025, 21:51 ISTJhansi News: झांसी के एक छोटे से गांव में कैमासन और मैमासन नाम…

