सौरभ वर्मा/रायबरेली. यूपी सरकार भले ही जल संरक्षण को लेकर बड़े-बड़े दावे कर रही हो लेकिन ये दावे जमीनी हकीकत पर फेल होते नजर आ रहे हैं. क्योंकि सरकार द्वारा जल संरक्षण को लेकर विभिन्न प्रकार की योजनाएं संचालित की जा रही हैं. जिससे कि जल को संरक्षित कर बचाया जा सके. इसी कड़ी में सरकार ने अमृत योजना के तहत ग्राम पंचायतों में अमृत सरोवर का निर्माण कराया, परंतु लाखों की लागत से पंचायतों में बनवाए गए अमृत सरोवर जिम्मेदारों की उदासीनता के चलते सूखे पड़े हुए हैं. क्योंकि जिम्मेदार इन पर ध्यान नहीं दे रहे हैं.भीषण गर्मी के चलते लोग बेहाल है तो वहीं आवारा मवेशी भी बूंद-बूंद पानी को तरस रहे हैं. आप को बताते चलें कि रायबरेली जनपद में अमृत सरोवर को मिलाकर कई 1200 तालाब है. लेकिन अपवाद को अगर छोड़ दें तो किसी भी तालाब में बिल्कुल पानी नहीं है. अधिकतर तालाब सूखे पड़े हैं जिनका निर्माण मनरेगा योजना के अंतर्गत हुआ है.बदहाली पर आंसू बहा रहे तालाबलगातार पड़ रही भीषण गर्मी के चलते जहां एक और आम जनमानस परेशान है तो वहीं दूसरी तरफ मवेशियों के साथ ही पशु-पक्षी भी बूंद-बूंद पानी के लिए तरस रहे हैं. लेकिन लाखों की लागत से ग्राम पंचायतों में बने अमृत सरोवर अपनी बदहाली पर आंसू बहा रहे हैं. क्योंकि जिम्मेदार इस पर तनिक भी ध्यान नहीं दे रहे हैं.लापरवाही बरतना पड़ सकता है भारीन्यूज 18 से बात करते हुए जिला पंचायती राज अधिकारी रायबरेली गिरीश चंद्र यादव ने बताया कि जिले मैं बने अमृत सरोवर में सभी पंचायतों को पानी भरवाने के लिए निर्देश दिया गया है, यदि इसमें कोई लापरवाही बरते गए तो उसके विरुद्ध सख्त कार्रवाई की जाएगी..FIRST PUBLISHED : June 16, 2023, 22:22 IST
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