Uttar Pradesh

इंजीनियर से बने किसान, नौकरी छोड़ शुरू की ड्रैगन फ्रूट की खेती, अब लाखों में कमाई, पढ़ें Success Story



हाइलाइट्सइंजीनियर से किसान बने शाहजहांपुर के अंशुल मिश्राड्रैगन फ्रूट की खेती से कर रहे अच्छी कमाईYouTube पर देखा था खेती का तरीकाशाहजहांपुर. मन में संकल्प हो तो खेती में भी सफलता हासिल की जा सकती है. ऐसा ही शाहजहांपुर के इंजीनियरिंग के छात्र ने किया. उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आत्मनिर्भर भारत के भाषण से प्रेरणा ली. फिर बंजर भूमि पर ड्रैगन फ्रूट की खेती कर हजारों किसानों को चौंकाया. अब प्रशासनिक अधिकारी भी इस उत्कृष्ट खेती के लिए छात्र की पीठ थपथपा रहे हैं. वही छात्र ने गांव में ड्रैगन फ्रूट की खेती करके किसानों को उनकी आय बढ़ाने का भी मंत्र दिया है. इतना ही नहीं वे कार्यशाला आयोजित कर लाखों किसानों को खेती का तरीका सिखा रहे हैं.
हम बात कर रहे हैं अल्लाहगंज के रहने वाले अंशुल मिश्रा की. अंशुल मिश्रा ने पढ़ाई के साथ-साथ आत्मनिर्भर बनने के उद्देश्य से यूट्यूब पर ड्रैगन फ्रूट की खेती को सर्च किया. छात्र ने अपनी पढ़ाई को पूरा करने के बाद गांव में ड्रैगन फ्रूट की खेती की शुरुआत की. यूपी में ड्रैगन फ्रूट की खेती करने वाले केवल दो ही किसान हैं जिनमें शाहजहांपुर का यह इंजीनियरिंग का छात्र भी शामिल है.
नौकरी छोड़ शुरू की खेती
अंशुल मिश्रा चेन्नई में इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहे थे. तभी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आत्मनिर्भर भारत का नारा दिया. पीएम मोदी के आत्मनिर्भर वाले भाषण को सुनकर इंजीनियरिंग के छात्र अंशुल ने अपनी मोटी तनख्वाह की नौकरी को छोड़कर गांव में ड्रैगन फ्रूट की खेती करने का फैसला लिया. अंशुल का कहना है कि इस स्थिति से हर साल 8 से 10 लाख की कमाई की जा सकती है.
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महाराष्ट्र के शोलापुर से लाई गई गई नर्सरी से कुछ पौधों से उसने कई एकड़ का बाग तैयार कर लिया है. यहां का अच्छा क्लाइमेट मिलने के बाद वह न केवल फलों को बेच रहा है बल्कि उसकी नर्सरी भी बेचकर मुनाफा कमाने लगा है.
यूट्यूब पर देखा खेती का तरीका
अंशुल ने इंजीनियरिंग की पढ़ाई के दौरान ही उन्होंने यूट्यूब पर ड्रैगन फ्रूट की खेती करने के तरीके और फायदे सीखे. इसके बाद पढ़ाई पूरी कर वह नौकरी न करके वापस अपने गांव लौट आए और यहां  अपनी बंजर भूमि पर ड्रैगन फ्रूट की खेती का सफल प्रयोग किया. अंशुल ने बताया कि ऐसा करके उन्होंने किसानों की आय दोगुनी करने की राह भी दिखाई है. अंशुल ने बताया कि उनके द्वारा पैदा किया गया ड्रैगन फल इम्यूनिटी बूस्टर के साथ-साथ तमाम बीमारियों के लिए भी रामबाण है. ड्रैगन की खेती करने वाले इंजीनियर अंशुल मिश्रा का कहना है कि इस खेती में एक बार लागत लगाकर लगातार 35 सालों तक फसल को काटा जा सकता है. ड्रैगन फ्रूट की खासियत है कि साल में 7 बार इसकी फसल काट कर मोटा मुनाफा कमाया जा सकता है.
ब्रेकिंग न्यूज़ हिंदी में सबसे पहले पढ़ें News18 हिंदी | आज की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट, पढ़ें सबसे विश्वसनीय हिंदी न्यूज़ वेबसाइट News18 हिंदी |Tags: Farming, UP newsFIRST PUBLISHED : September 15, 2022, 04:10 IST



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