Commonwealth Games 2022: 28 जुलाई से बर्मिंघम में 22वें कॉमनवेल्थ गेम्स का आगाज हो रहा है. भारत के 215 खिलाड़ी 16 खेलों में शिरकत करेंगे. चीन और जापान कॉमनवेल्थ गेम्स में भाग नहीं लेते हैं, इसी वजह से भारतीय खिलाड़ियों ने हमेशा से ही कॉमनवेल्थ गेम्स में बहुत ही शानदार प्रदर्शन किया. आज हम आपको बताने जा रहे उस खिलाड़ी के बारे में, जिसने कॉमनवेल्थ गेम्स में भारत को पहला पदक दिलाया.
इस खिलाड़ी ने भारत को दिलाया पहला मेडल
कॉमनवेल्थ गेम्स का आयोजन हर चार साल में एक बार होता है. भारत ने साल 1934 में लंदन राष्ट्रमंडल खेलों से अपना डेब्यू किया. इस कॉमनवेल्थ गेम्स में भारत की तरफ से सिर्फ 6 एथलीट ही शामिल हुए. भारत ने अपने पहले कॉमनवेल्थ गेम सिर्फ एक मेडल जीता और पदक दिलाया कुश्ती इवेंट में पहलवान राशिद अनवर ने. राशिद अनवर ने ब्रॉन्ज मेडल जीतकर भारत के मान को बढ़ाया. इसके बाद अगले 24 सालों तक भारत कॉमनवेल्थ गेम्स कोई भी मेडल नहीं जीत पाया. 1958 में फ्लाइंग सिख के नाम से मशहूर मिल्खा सिंह ने देश के लिए पहला गोल्ड मेडल जीता.
रेलवे में करते थे नौकरी
राशिद अनवर का जन्म 1910 में लखनऊ में हुआ. इसके बाद राशिद अनवर ने रेलवे में नौकरी की थी, लेकिन वह खेलों में भी हिस्सा लेते रहे. इसके बाद अनवर का खेल धीरे-धीरे इतना बेहतर हो गया था कि उनके चर्चे इंग्लैंड में भी होने लगे थे. वह अपने समय के सर्वश्रेष्ठ पहलवान माने जाते थे.
पिछले पांच कॉमनवेल्थ में भारत हुआ बेहतर
भारत ने कॉमनवेल्थ गेम्स में अब तक कुल 503 पदक अपने नाम किए हैं. इनमें से 350 पदक उसने आखिरी 5 कॉमनवेल्थ गेम्स में हासिल किए. 2010 के नई दिल्ली कॉमनवेल्थ खेलों में भारत ने 101 पदक जीते और 39 स्वर्ण, 26 रजत और 36 कांस्य पदकों के साथ दूसरे स्थान पर रहा. यह अब तक भारत का सबसे सफल कॉमनवेल्थ खेल बना हुआ है.
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