The 3 Stages of Love: दुनिया में सबसे ताकतवर फीलिंग प्यार है और ऐसा कोई व्यक्ति नहीं है, जो प्यार से अछूता रहा हो. अक्सर कहा जाता है कि प्यार दिल से किया जाता है. लेकिन यह सच नहीं है. क्योंकि हम दिल नहीं, दिमाग से प्यार करते हैं. प्यार के दौरान आपका दिमाग 3 स्टेज से होकर गुजरता है और हर स्टेज में हॉर्मोनल विस्फोट होता है. मतलब यह है कि हर स्टेज में बड़ी मात्रा में अलग-अलग हॉर्मोन बनते हैं. आइए जानते हैं कि प्यार के दौरान किन स्टेज से ब्रेन गुजरता है और उसमें किन हॉर्मोन का उत्पादन होता है.
The Stages of Love Relationship: लव रिलेशनशिप में इन 3 स्टेज से गुजरता है ब्रेनसाइकोलॉजिस्ट डॉ. केतम हमदम – Dr. Ketam Hamdam, Psychologist के मुताबिक, प्यार और आकर्षण के पीछे मौजूद कॉग्नीटिव व न्यूरोबायोलॉजिकल प्रोसेस को जानने के लिए Rutgers University के शोधकर्ता डॉ. हेलेन फिशर ने रिसर्च की. जिसमें लव रिलेशनशिप के पीछे निम्नलिखित 3 स्टेज के बारे में पता चला.
लव स्टेज 1- लस्टरिसर्च के मुताबिक, प्यार की सबसे पहली स्टेज लस्ट होती है. जिसमें हम किसी व्यक्ति को पाने की मजबूत इच्छा रखते हैं. प्यार के लस्ट फेज में आप व्यक्ति के साथ इंटिमेट होने की इच्छा रख भी सकते हैं और नहीं भी. लव की इस स्टेज के लिए टेस्टोस्टेरोन और एस्ट्रोजन हॉर्मोन जिम्मेदार होते हैं. हालांकि, ऐसा जरूरी नहीं कि आप लस्ट फेज से आगे की फेज में जाएंगे ही. यह स्टेज यहीं खत्म हो सकती है.
लव स्टेज 2- अट्रैक्शनप्यार की दूसरी स्टेज अट्रैक्शन होती है. जिसके लिए डोपामाइन, सेरोटोनिन और नॉरपेनेफ्रिन हॉर्मोन जिम्मेदार होते हैं. इस स्टेज में हम पार्टनर के लिए जुनूनी हो जाते हैं और यहीं से प्यार अंधा हो जाता है. क्योंकि, डोपामाइन हॉर्मोन के कारण हम लव रिलेशनशिप में मौजूद नेगेटिव चीजों को छोड़कर इंटेंस एनर्जी, इमोशनल डिपेंडेंसी, एक-दूसरे के बिना रह ना पाने जैसी पॉजीटिव चीजों पर ज्यादा ध्यान देते हैं.
लव स्टेज 3- अटैचमेंटलव रिलेशनशिप या प्यार की तीसरी स्टेज अटैचमेंट होती है. जिसके पीछे ऑक्सीटोसिन और वैसोप्रेसिन हॉर्मोन जिम्मेदार होते हैं. इन हॉर्मोन के कारण हम पार्टनर के साथ सुरक्षा और हिफाजत महसूस करने लगते हैं. जो कि किसी भी लव रिलेशनशिप के लिए जरूरी है.
डॉ. केतम हमदम के मुताबिक, ऐसा बिल्कुल जरूरी नहीं है कि हर व्यक्ति प्यार की इन स्टेज से ऐसे ही होकर गुजरे. हर व्यक्ति के लिए प्यार अलग हो सकता है. कुछ लोग लस्ट और इंटेमिसी को ज्यादा महसूस करते हैं, तो कुछ अट्रैक्शन और अटैचमेंट को. इसलिए प्यार में सबसे ज्यादा जरूरी एक दूसरे का साथ और वफादारी है. जिसपर ज्यादा ध्यान देना जरूरी है.
Disclaimerइस जानकारी की सटीकता, समयबद्धता और वास्तविकता सुनिश्चित करने का हर सम्भव प्रयास किया गया है. हालांकि इसकी नैतिक जिम्मेदारी ज़ी न्यूज़ हिन्दी की नहीं है. हमारा आपसे विनम्र निवेदन है कि किसी भी उपाय को आजमाने से पहले अपने चिकित्सक से अवश्य संपर्क करें. हमारा उद्देश्य आपको जानकारी मुहैया कराना मात्र है.
‘Fighting for jobs, dignity, development; NDA’s austerity model is anti-people’: Tejashwi Yadav
Q: How do you plan to balance your responsibilities as a leader with your personal life?Tejashwi: I have…

